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Saturday, June 21, 2025

देश को मुगलों और अंग्रेज शासको से आजाद कराने में जनजातीय नायकों का योगदान अतुलनीय रहा है

स्वतंत्रता आंदोलन के लिखे गये इतिहास में इनके शौर्य और पराक्रम को भुला दिया गया। इन्हें वो सम्मान नहीं मिला जिसके वे हकदार थे।

जबलपुर

जनजातीय नायकों द्वारा देश की आजादी के लिये दिये गये बलिदान को याद करने और इतिहास में इनके योगदान को रेखांकित करने का समय अब आ गया है।

ये उदगार प्रदेश के पशुपालन एवं डेयरी तथा सामाजिक न्याय एवं नि:शक्तजन कल्याण मंत्री श्री प्रेम सिंह पटेल ने आज यहॉं पशु चिकित्सा एवं पशुपालन महाविद्यालय के सभागार में देश की आजादी में जनजातीय नायकों के योगदान विषय पर आयोजित संगोष्ठी को मुख्य अतिथि के रूप में संबोधित करते हुये व्यक्त किये।
आजादी के अमृत महोत्सव के उपलक्ष्य में राष्ट्रीय जनजाति आयोग द्वारा वनवासी कल्याण परिषद और नानाजी देशमुख पशु चिकित्सा विज्ञान विश्वविद्यालय के सहयोग से आयोजित इस संगोष्ठी की मुख्य वक्ता एवं संयोजक जनजातीय कार्य विभाग मंत्रालय मध्यप्रदेश शासन की विशेष सहायक डॉ.उमा कुमरे परते थी। संगोष्ठी की अध्यक्षता नानाजी देशमुख पशु चिकित्सा विज्ञान विश्व विद्यालय के कुलपति प्रो. सीता प्रसाद तिवारी ने की। इस अवसर पर विश्व विद्यालय के संस्थापक कुलपति डॉ. जी.पी. मिश्रा, मंगलायतन विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. ऐ.के मिश्र, नानाजी देशमुख विश्वविद्यालय के प्रबंधन मण्डल के सदस्य श्री हिम्मत सिंह पटैल एवं डॉ. सुधीर यादव, कुल सचिव डॉ. श्रीकांत जोशी, अधिष्ठाता डॉ. आर. के शर्मा, संयुक्त संचालक पशु चिकित्सा सेवायें डॉ. एसपी गौतम तथा विषय विशेषज्ञ राष्ट्रीय जनजाति आयोग की सहायक निदेशक श्रीमती मीनाक्षी शर्मा मंचासीन थे।
पशुपालन एवं डेयरी मंत्री श्री पटैल ने अपने संबोधन में गोंडवाना साम्राज्य की शासक वीरांगना रानी दुर्गावती, राजा शंकर शाह-कुंवर रघुनाथ शाह, टंट्या भील, बिरसा मुंडा सहित देश की आजादी के लिए मुगलों और अंग्रेजों के खिलाफ लड़ाई छेड़ने वाले कई जनजातीय नायकों का उल्लेख किया। उन्होंने आजादी की लड़ाई में जनजातीय नायकों के पराक्रम, शौर्य और बलिदानों से देश को परिचित कराने का बीड़ा उठाने के लिए प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी का आभार व्यक्त किया। मंत्री श्री पटैल ने कहा कि देश की आजादी में जनजातीय नायकों के योगदान विषय पर संगोष्ठी का आयोजन इसी दिशा में एक प्रयास है।
संगोष्ठी की मुख्य वक्ता डॉ. उमा कुमरे परते ने अपने संबोधन में वीरांगना रानी दुर्गावती, राजा शंकर शाह-कुंवर रघुनाथ शाह सहित दक्षिण भारत के कुमराम भील और ए सीताराम राजू जैसे स्वतंत्रता समर के नायकों का उल्लेख करते हुये कहा कि देश को मुगलों और अंग्रेजों से आजाद कराने में इन जनजातीय नायकों ने जो शौर्य और पराक्रम का प्रदर्शन किया उसे इतिहास में स्थान दिलाना तथा उनके बलिदानों को लोगों तक पहुंचाना इस संगोष्ठी का प्रमुख उद्देश्य है। डॉ. उमा कुमरे परते ने खेद व्यक्त करते हुए कहा कि हम मुगल शासकों का इतिहास तो पढ़ते है लेकिन अपने ही शासकों का इतिहास हमे नहीं पढ़ाया जाता। उन्होंने कहा कि अब इस देश की आजादी में उन जनजातीय नायकों के योगदान को रेखांकित करने का समय आ गया है जिसे इतिहास के पन्नों में छुपा दिया गया है।
संगोष्ठी में नानाजी देशमुख पशु चिकित्सा विज्ञान विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. सीता प्रसाद तिवारी, विश्वविद्यालय के संस्थापक कुलपति डॉ. जी पी मिश्रा, मंगलायतन विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. ऐ.के. मिश्रा विषय विशेषज्ञ श्रीमती मीनाक्षी शर्मा एवं संयुक्त संचालक पशु चिकित्सा डॉ. एस पी गौतम ने भी अपने विचार व्यक्त किये तथा स्वतंत्रता समर में जनजातीय नायकों के योगदान से युवा पीढ़ी को परिचित कराने की लिए इस आयोजन की सराहना की है। संगोष्ठी में नानाजी देशमुख पशु चिकित्सा विश्वविद्यालय के मेधावी छात्र- छात्राओं को मुख्य अतिथि मंत्री श्री प्रेम सिंह पटेल ने प्रशस्ति पत्र प्रदान किये।
उन्होंने स्वतंत्रता संग्राम में जनजातीय नायकों का योगदान विषय पर आयोजित राज्य स्तरीय निबंध प्रतियोगिता में प्रथम स्थान प्राप्त करने पर छात्र विशाल सोनकर का सम्मान भी किया। संगोष्ठी का शुभारंभ मां सरस्वती के चित्र के समक्ष दीप प्रज्वलित कर किया गया। इस अवसर पर जनजातीय नायकों को पुष्पांजलि अर्पित की गई। संगोष्ठी में आजादी की लड़ाई में जनजातीय नायकों के योगदान पर आधारित लघु फिल्म का प्रदर्शन भी किया गया इसके पहले पशुपालन एवं डेयरी मंत्री श्री प्रेम सिंह पटैल ने देश की आजादी में योगदान देने वाले जनजातीय नायकों पर आधारित चित्र प्रदर्शनी का अवलोकन किया तथा जनजातीय लोक कला प्रदर्शनी का शुभारंभ किया।

सुंदरलाल बर्मनhttps://majholidarpan.com/
Sundar Lal barman (41 years) is the editor of MajholiDarpan.com. He has approximately 10 years of experience in the publishing and newspaper business and has been a part of the organization for the same number of years. He is responsible for our long-term vision and monitoring our Company’s performance and devising the overall business plans. Under his Dynamic leadership with a clear future vision, the company has progressed to become one of Hindi e-newspaper , with Jabalpur district.

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