मार्च माह के बाद बिना फार्मर रजिस्ट्री के नहीं मिलेगा पीएम किसान योजना का लाभ
जबलपुर
समर्थन मूल्य पर फसल उपार्जन के लिए पंजीयन और प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना जैसी योजनाओं का लाभ प्राप्त करने हेतु भविष्य में आवश्यकता को देखते हुए जबलपुर जिले में अभी तक 51.26 फीसदी किसानों द्वारा फार्मर रजिस्ट्री कराई जा चुकी है। जिले में 1 लाख 65 हजार 270 किसानों की फार्मर आईडी बनाने का लक्ष्य रखा गया है। इसके विरूद्ध अभी तक 84 हजार 714 किसानों की फार्मर रजिस्ट्री का कार्य पूरा हो चुका है।
कलेक्टर दीपक सक्सेना ने भारत सरकार के कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय तथा मध्यप्रदेश शासन के राजस्व विभाग द्वारा जारी निर्देशों के परिप्रेक्ष्य में जिले में पदस्थ सभी राजस्व अधिकारियों को किसानों की फार्मर रजिस्ट्री के लिए ग्रामीण क्षेत्र में शिविरों का आयोजन करने के निर्देश दिये हैं। भारत सरकार के कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय तथा मध्यप्रदेश शासन के राजस्व विभाग द्वारा जारी इन निर्देशों में कहा गया है कि मार्च 2025 के बाद पीएम किसान योजना का लाभ प्राप्त करने हेतु किसानों की फार्मर आईडी होना अनिवार्य होगा। कलेक्टर श्री सक्सेना ने किसानों की फार्मर आईडी बनाने के लिए आयोजित किये जाने वाले शिविरों की कार्य योजना तैयार करने तथा ग्रामीण क्षेत्र में उनका व्यापक प्रचार-प्रसार करने के निर्देश भी राजस्व अधिकारियों को दिये हैं।
किसानों की फार्मर रजिस्ट्री करने के लिए शिविरों का आयोजन आस-पास के तीन से पांच गांव का कलस्टर बनाकर लगाये जायेंगें। इन शिविरों में राजस्व विभाग एवं कृषि विभाग के एक-एक शासकीय सेवक को नोडल अधिकारी के रूप में नियुक्त किया जायेगा। शिविरों में इंटरनेट की उपलब्धता एवं कॉमन सर्विस सेंटर के प्रतिनिधि की उपस्थिति सुनिश्चित की जायेगी। शिविरों का आयोजन सुबह 8 बजे से दोपहर 2 बजे तक एवं शाम 4 बजे से 6 बजे तक किया जायेगा। शिविरों के आयोजनों के अलावा किसानों की फार्मर रजिस्ट्री के लिए प्रत्येक पटवारी को प्रतिदिन 10 फार्मर आईडी जनरेट करने का लक्ष्य दिया जायेगा। इसी प्रकार डिजीटल क्रॉप सर्वे हेतु पंजीकृत स्थानीय युवा के लिए भी प्रतिदिन दस फार्मर आईडी जनरेट करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।
ज्ञात हो कि भारत सरकार कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय की एग्रीस्टैक योजना के अंतर्गत प्राप्त निर्देशों के अनुक्रम में प्रदेश में फार्मर रजिस्ट्री बनाये जाने की कार्यवाही प्रारंभ की गई है। इसके अतर्गत प्रत्येक कृषक भूमिस्वामी को एक यूनिक आईडी जनरेट कर प्रदान की जा रही है ताकि कृषकों को आसानी से केसीसी ऋण कम्प्यूटरीकृत प्रक्रिया के माध्यम से प्राप्त हो सके और हितग्राहीमूलक योजनाओं हेतु लक्ष्य निर्धारण एवं कम्प्यूटरीकृत प्रणाली से सत्यापन की प्रक्रिया सुनिश्चित की जा सके।
फार्मर रजिस्ट्री के तहत प्रत्येक किसान को एक यूनिक आईडी (फार्मर आईडी) प्रदान की जायेगी। इससे किसानों की पहचान सुनिश्चित होगी, किसानों का डेटा बेस तैयार होगा और कृषि सबंधी नीतियों के क्रियान्वन में मदद मिलेगी। फार्मर रजिस्ट्री या फार्मर आईडी से किसानों को पीएम किसान एवं अन्य शासकीय योजनाओं का लाभ लेने में भी आसानी होगी। किसान घर बैठे मोबाइल एप के माध्यम से अपनी फार्मर रजिस्ट्री करा सकेंगे। इसके लिये उन्हें प्ले स्टोर पर जाकर फार्मर सहायक एमपी एप डाउनलोड करना होगा तथा आधार वेरीफिकेशन और मोबाइल नम्बर वेरिफिकेशन के बाद किसान को स्वयं की, कृषि भूमि की और समग्र आईडी की जानकारी इसमें दर्ज करनी होगी। मोबाइल एप के अलावा किसान पटवारी अथवा उनके गांव में नियुक्त सर्वेयर सहायक से भी फार्मर रजिस्ट्री करा सकेंगे। एमपी ऑनलाइन कियॉस्क या कॉमन सर्विस सेंटर के माध्यम से भी निर्धारित शुल्क चुकाकर किसान फार्मर रजिस्ट्री करा सकेंगे।