नगर मझौली में स्थित ऐतिहासिक विष्णु-वराह मंदिर की दुर्दशा को लेकर स्थानीय नागरिकों में भारी असंतोष है।
मझौली (जबलपुर)
वार्ड क्रमांक 12 निवासी सुंदर लाल बर्मन द्वारा तहसीलदार मझौली को एक लिखित आवेदन सौंपा गया था, जिसमें मंदिर परिसर में बुनियादी धार्मिक एवं सार्वजनिक सुविधाओं की मांग की गई थी।
हालांकि आवेदन दिनांक 26 जुलाई 2025 को दिए जाने के बावजूद, अब तक कोई स्पष्ट कार्रवाई या निरीक्षण नहीं हुआ है, जिससे स्थानीय श्रद्धालुओं में प्रशासन के प्रति नाराज़गी देखने को मिल रही है।
⛪ यह हैं मंदिर की प्रमुख समस्याएं:
* मुंडन/संस्कार कक्ष और स्थायी कथा मंच की अनुपलब्धता।
* शौचालय, स्वच्छ पानी, बैठने की सुविधा जैसी मूलभूत चीज़ों की कमी।
* त्यौहारों पर कोई कर्मचारी या ग्राम कोटवार की ड्यूटी नहीं लगाई जाती जिससे अव्यवस्था फैल जाती है।
* साफ-सफाई की नियमित व्यवस्था नहीं है और न ही चौकीदार नियुक्त है।
प्रशासन मौन, श्रद्धालु असहाय
त्यौहारों पर हजारों श्रद्धालु यहां पहुंचते हैं, लेकिन व्यवस्था के नाम पर कुछ भी स्थायी नहीं है। मंदिर के *पुनरुद्धार, देखरेख और सुरक्षा* को लेकर कोई दीर्घकालिक योजना या बजट नहीं बनाया गया है।
स्थानीय लोगों का कहना है कि —
* मंदिर की संरचना को राजस्व व धार्मिक धरोहर के रूप में संरक्षित किया जाए।
* स्थायी कर्मचारी/चौकीदार की नियुक्ति सीसीटीवी और प्रसाद वितरण व्यवस्था की स्थापना हो।
*एकादशी, पूर्णिमा एवं विशेष आयोजनों के लिए सरकारी सहयोग एवं ड्यूटी निर्धारण अनिवार्य किया जाए।
क्या प्रशासन नींद से जागेगा?
विष्णु-वराह मंदिर को लेकर लंबे समय से मांगें उठ रही हैं। यदि अब भी कोई कदम नहीं उठाया गया, तो श्रद्धालु आंदोलन की राह भी अपना सकते हैं।
विष्णु-वराह मंदिर सिर्फ श्रद्धा का केंद्र नहीं, सांस्कृतिक धरोहर भी है। लेकिन मंदिर को रामभरोसे छोड़ दिया गया है। आवेदन दिए 7 दिन से ज्यादा हो चुके हैं, अब तक न कोई अधिकारी आया, न कोई प्रतिक्रिया मिली
श्री सुंदर लाल बर्मन ने अपनी प्रतिक्रिया में कहा
📞 आवेदक संपर्क:
सुंदर लाल बर्मन**, वार्ड 12, मझौली — 9424575756