निर्वाचन नियमों की दी जानकारी और आदर्श आचरण संहिता का पालन करने किया आग्रह
कटनी
निर्वाचन संबंधी शिकायत सी-विजिल एप पर और जिला स्तरीय कंट्रोल रूम के दूरभाष नंबर 07622 – 220070 पर करायें दर्ज
कटनी – भारत निर्वाचन आयोग द्वारा नियुक्त सामान्य प्रेक्षकों, व्यय प्रेक्षकों एवं पुलिस प्रेक्षक की मौजूदगी में जिले के चारों विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ रहे उम्मीदवारों एवं उनके प्रतिनिधियों और मान्यता प्राप्त राजनैतिक दलों के पदाधिकारियों की शुक्रवार को बैठक आयोजित की गई। जिला निर्वाचन अधिकारी एवं कलेक्टर अवि प्रसाद की अध्यक्षता में संपन्न हुई इस बैठक में उम्मीदवारों एवं राजनैतिक दलों के प्रतिनिधियों को निर्वाचन व्यय लेखे के संधारण की प्रक्रिया के बारे में विस्तार से जानकारी दी गई तथा चुनाव प्रचार अभियान के दौरान आदर्श आचरण संहिता एवं निर्वाचन नियमों के पालन की अपेक्षा की गई। इस अवसर पर उम्मीदवारों को निर्वाचन आयोग के दिशा-निर्देशों के बारे में भी विस्तार से बताया गया।
बैठक में कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी अवि प्रसाद, समान्य प्रेक्षक द्वय कोना शशिधर, सुश्री अरूंधति सरकार, पुलिस प्रेक्षक राजीव स्वरूप और व्यय प्रेक्षक द्वय अश्वनी जान जार्ज एवं आर श्री बालाजी सहित पुलिस अधीक्षक अभिजीत कुमार रंजन और अपर कलेक्टर एवं उप जिला निर्वाचन अधिकारी साधना परस्ते मौजूद रहीं।
जिला निर्वाचन अधिकारी एवं कलेक्टर अवि प्रसाद ने बताया कि दिन-प्रतिदिन के चुनावी खर्चे का ब्यौरा निर्वाचन व्यय लेखे में रखना होगा तथा इसे रोस्टर के अनुसार तीन बार परीक्षण के लिए एक्सपेंडिचर मॉनिटरिंग सेल को उपलब्ध कराना होगा। उन्होनें कहा कि उम्मीदवार अपने निर्वाचन व्ययों का भुगतान निर्वाचन के उद्देश्य से खोले गये खाते से ही चेक या बैंक ड्राफ्ट या आरटीजीएस के माध्यम से कर सकेगा। यदि किसी व्यक्ति अथवा ईकाई व्यय के किसी मद के लिए अदा की जाने वाली राशि दस हजार से अधिक नहीं है तो ऐसे व्यय का भुगतान उम्मीदवार द्वारा नकद किया जा सकता है। श्री प्रसाद ने बताया कि उम्मीदवारों द्वारा निर्वाचन व्यय लेखे के संधारण के लिए अलग से निर्वाचन व्यय अभिकर्ता भी नियुक्त किया जा सकता है। उन्होनें बताया कि निर्धारित दिनों में निर्वाचन व्यय लेखा परीक्षण के लिये प्रस्तुत नहीं किये जाने पर उम्मीदवारों को नोटिस दिया जायेगा।
इस अवसर पर राजनैतिक दलों एवं उम्मीदवारों से आदर्श आचरण संहिता का पालन करने का आग्रह किया तथा उन्हें आगाह किया कि बिना पूर्व अनुमति के जुलुस, आमसभा, रैली का आयोजन न करें। श्री प्रसाद ने बताया कि वाहनों एवं लाउड स्पीकर के उपयोग के लिए भी उम्मीदवारों एवं राजनैतिक दलों को पूर्व अनुमति लेनी होगी। उन्होनें कहा कि प्रचार सामग्री में मुद्रक एवं प्रकाशक का नाम तथा मुद्रित सामग्री की संस्था अनिवार्य रूप से प्रिंटलाइन में देना होगी। बिना प्रिंटलाइन के प्रचार सामग्री पाये जाने पर लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम की धारा 127 के तहत दोषी व्यक्तियों के विरूद्ध एफआईआर दर्ज कराई जायेगी।
जिला निर्वाचन अधिकारी ने उम्मीदवारों एवं राजनैतिक दलों के प्रतिनिधियों को निर्वाचन अपराधों की जानकारी भी दी। उन्होनें बताया कि धार्मिक स्थलों, धार्मिक परिसरों, शाला परिसरों, अस्पताल आदि का राजनैतिक प्रचार के लिये किसी भी सूरत में इस्तेमाल नहीं किया जा सकेगा। मतदाता पर अनुचित प्रभाव डालने, मतदाताओं को किसी खास उम्मीदवार के पक्ष में वोट डालने या न डालने के लिये डराने धमकाने अथवा लालच या प्रलोभन देने के मामलों में भी आईपीसी की धाराओं के तहत प्रकरण दर्ज कर दोषी व्यक्तियों के विरूद्ध कठोर कार्यवाही की जायेगी।
श्री प्रसाद ने बताया कि चुनाव प्रचार की अवधि समाप्त होने के बाद मतदाताओं को छोड़कर कोई भी बाहरी कार्यकर्ता संबंधित विधानसभा या जिले में नहीं रह सकेगा। उन्होनें शिकायत अनुवीक्षण व्यवस्था की भी जानकारी देते हुये बताया कि आचार संहिता, संपत्ति विरूपण अधिनियम या निर्वाचन नियमों के उल्लंघन की शिकायतों पर त्वरित कार्यवाही करने प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में एफसीटी, एसएसटी एवं व्हीएसटी टीमें गठित की गई है। श्री प्रसाद ने बताया कि चुनाव संबंधी शिकायतें सी-विजिल एप और जिला स्तरीय कंट्रोल रूम के दूरभाष नंबर 07622-220070 पर भी की जा सकेगीं। कंट्रोल रूम 24 घंटे कार्यरत है।
जिला निर्वाचन अधिकारी ने जुलूस, आमसभा एवं वाहनों आदि अनुमति के लिए स्थापित सिंगल विन्डो सिस्टम की जानकारी भी दी। उन्होनें बताया कि सभी प्रकार की अनुमतियों के लिए सुविधा एप पर तय समय पूर्व ऑनलाइन आवेदन देना होगा। अनुमति देने प्रत्येक रिटर्निंग अधिकारी के कार्यालय तथा जिला स्तर पर कलेक्टर कार्यालय में सिंगल विंडो स्थापित की गई है। उन्होनें हेलीकॉप्टर के उपयोग की अनुमति संबंधी प्रावधान भी बैठक में बताये।
कलेक्टर श्री प्रसाद ने बैठक में बताया कि उम्मीदवारों एवं राजनैतिक दलों को केवल टीव्ही, रेडियो, टीव्ही चौनल, सोशल मीडिया के विभिन्न प्लेटफार्म पर प्रसारित किये जाने वाले विज्ञापनों का एमसीएमसी कमेटी से पूर्व प्रमाणन कराना अनिवार्य है। बल्क में भेजे जाने वाले एसएमएस वाईज मैसेज, आडियो-विडियो, जिंगल्स आदि को भी जारी करने से पहले एमसीएमसी कमेटी से प्रमाणन कराना जरूरी होगा। श्री प्रसाद ने बताया कि प्रिंट मीडिया में भी मतदान के दिन और मतदान दिवस के एक दिन पूर्व प्रकाशित किये जाने वाले विज्ञापनों का भी एमसीएमसी कमेटी से प्री-सर्टिफिकेशन कराना अनिवार्य है।